आले सऊद की इस्लाम विरोधी गतिविधियों को बेनकाब करें-मौलाना सैफ अब्बास
लखनऊ, शिया धार्मिक विद्वान ने एक बयान में कहा कि जन्नत-उल-बकी के संबंध में हर सतह से विरोध करें। यह अइम्मए जमाअतों, मुबल्लेगीन और सभी संगठनों की जिम्मेदारी है कि वह अपने-अपने क्षेत्रों में ज़ियादह से ज़ियादह जन्नत-उल-बकी के ध्वस्त के संबंध में विरोध दर्ज कराएं लोगों और दुनिया को जागरूक करें। अपने विरोध संदेश के माध्यम से जन्नत-उल-बकी के महत्व और महानता के बारे में बताऐं। हमारा पहला कर्तव्य जन्नत उल-बकी का पुनर्निर्माण करना है। मौलाना सैफ अब्बास ने कहा कि अइम्मए जमाअत की तादाद सैकडों मे नही बल्की हज़रो मे है चूकि हर इमामे जमाअत के पिछे कई सौ लोग होते है इस लिए इमामे जमाअत सिर्फ 7 या 8 रकात तक नमाज़ को महदूद ना रखे बल्कि अपने पीछे खड़े होने वाले लोगों को धर्म की जरूरतों, वर्तमान स्थिति के जटिल मुद्दों के समाधान, शरिया के मुद्दों और अले-मुहम्मद की शिक्षा और जनात-उल के विध्वंस के बारे में हर वर्ष लोगों को सूचित करना चाहिए।
मौलाना सैफ अब्बास ने आगे कहा कि रमजान के आखिरी शुक्रवार को जिस तरह ही पूरी दुनिया में कुद्स दिवस का विरोध किया गया था, इसलिए इस साल 10 मई 2022 को 08 शव्वाल को यौमे गम यानी के ध्वस्त जन्नत-उल-बकी के अवसर पर विरोध किया जाना चाहिए। हम अइम्मए जमाअतों, मुबल्लेगीन और सभी संगठनों से अपील करते हैं कि हमारा पहला कर्तव्य जन्नत उल-बकी के पुनर्निर्माण के लिए प्रयास करना है। विरोध कर अपनी आवाज उठाएं और संयुक्त राष्ट्र और भारत सरकार से अपील करें कि वह लाखों अहलेबैत अ0स0 के चाहने वालों की भावनाओं और अकीदत का सम्मान करते हुए हज़रत फातिमा ज़हरा स0अ0 और चार अन्य इमामों अ0स0 की रौजा़ें के पुनर्निर्माण के लिए सऊदी सरकार पर दबाव डाले।
मौलाना सैफ अब्बास ने आखिर में कहा कि दुनिया भर के मुसलमान इस्लाम के पैगंबर और उनके परिवार से प्यार करते हैं। इसलिए, हर मुसलमान को यह अपना कर्तव्य समझना चाहिए कि वह हज़रत पैगंबर की बेटी हज़रत फातिमा ज़हरा स0अ0 की रौजे़ के पुनर्निर्माण का प्रयास करें और आले सऊद की इस्लाम विरोधी गतिविधियों को बेनकाब करें और संयुक्त राष्ट्र की ईमेल भेजकर जन्नत उल-बकी के पुनर्निर्माण का अनुरोध करें।
जन्नत-उल-बकी के संबंध में हर सतह से विरोध करें। मौलाना सैयद सैफ अब्बास नकवी
