लखनऊ। शिया धर्म गुरू मौलाना सैफ अब्बास नकवी ने एक बयान में कहा कि अफगानिस्तान के शहर कुंदुज की मस्जिद में जुमे की नमाज के दौरान आतंकवादियों द्वारा किए गए आत्मघाती हमले की निंदा करते है। उन्होंने कहा कि जिस तरह से तथाकथित मुसलमान मस्जिदों को निशाना बना रहे हैं, उससे उनकी इस्लाम विरोधी मांसिक्ता का पता चलता है कि वास्तव में यह लोग इस्लाम विरोधी ताकतों के इशारे पर काम कर रहे है।
अमेरिका इस्राइल के इशारे पर पाकिस्तान और सऊदी अरब द्वारा दुनिया भर में लगातार ऐसी घटनाओं को अंजाम दिया जा रहा है। मुसलमानों और इस्लाम को बदनाम करने की कोशिश की जा रही है। शिया संप्रदाय अल्पमत में हैं, इसलिए लोग शिया समुदाए पर हो रहे अत्याचारों के खिलाफ आवाज नहीं उठा रहे हैं। अगर ईश्वर न करे, किसी भी देश में 10 लोग आतंकवाद का शिकार हो जाएं, तो पूरी दुनिया में आफत मच जाती है, लेकिन अफगानिस्तान में 100 से अधिक शिया शहीद हो गए हैं और संयुक्त राष्ट्र तमाशा देश रहा है।
मौलाना सैफ अब्बास ने तथाकथित मुस्लिम विद्वानों को संबोधित करते हुए कहा कि आज वो लोग कहां हैं जो इस्लाम के सबसे बड़े नेता बन गए हैं लेकिन इसलाम के खिलाफ आतंकवादी संगठनों के हथियार बनने वाले युवाओं को जागरूक किया जाना चाहिए कि जो लोग दहशतगर्दी के नाम पर शहादत की बात करते हैं। असल में इस्लाम के नाम पर युवाओं को मौत की ओर धकेल रहे हैं। मौलाना सैफ अब्बास ने भारत सरकार से अपील की है कि जिस तरह से तालिबान ने अफगानिस्तान पर कब्जा किया और उसके बाद अल्पसंख्यकों पर अत्याचार किया जा रहा है। अगर आईएसआईएस और तालिबान को नहीं रोका गया, तो ये सभी आतंकवादी संगठन हमारे देश के लिए भी बड़ा खतरा बन सकते है।